10 जून 1946 को सुल्तानपुर उत्तरप्रदेश में जन्मे, अखिल भारतीय स्वतंत्र लेखक मंच स्लेम द्वारा 'काव्य साधना', पानीपत साहित्य अकादमी द्वारा 'आचार्य' , भाव सृष्टि समिति रामपुरा द्वारा 'काव्य किरीट' जैसे अनेक साहित्यिक-सामाजिक संस्थाओं द्वारा सम्मानित एवं अभिनन्दित रामानुज त्रिपाठी ने गोरखपुर विश्वविद्यालय से कला स्नातक एवं आई.जी.डी.बॉम्बे ड्रॉइंग की शिक्षा प्राप्त की थी। वे 1970 से 2004 तक इण्टर कालेज में प्रशिक्षित स्नातक अध्यापक रहे।
देश की समस्त श्रेष्ठ पत्रिकाओं सारिका, नई कहानियाँ, नीहारिका, नवनीत, सरिता, समांतर, वीणा, संकल्प रथ, अछूते सन्दर्भ, कादम्बिनी, हरिगन्धा, राष्ट्रधर्म, काव्यम, उत्तरायण आदि पत्र-पत्रिकाओं में उनके गीत, नवगीत, हिन्दी ग़ज़लों और दोहों का अनवरत प्रकाशन होता रहा।
उनके प्रमुख प्रकाशन हैं - 'यादों का चन्दनवन'(2009 गीत-नवगीत संग्रह) और 'धुएँ की टहनियाँ' (नवगीत संग्रह 2017) और 'जंगल का स्कूल' (बालगीत संग्रह-2017)
08 जुलाई 2004 ई0 इलाहाबाद में उनका देहावसान हुआ।
(सूचना साभार - कविता कोश)